रायपुर। नगरीय निकाय और त्रिस्तरीय पंचायत चुनावों की घोषणा के साथ ही राजनीतिक दलों ने अपने योग्य प्रत्याशियों की तलाश तेज कर दी है। राज्य के 14 नगर निगमों में से इस बार 10 में चुनाव होने जा रहे हैं। इनमें से पांच नगर निगमों को महिला महापौर के लिए आरक्षित किया गया है।
महिला महापौर के लिए पांच नगर निगम आरक्षित
इस चुनाव में रायपुर, कोरबा और बीरगांव को सामान्य वर्ग की महिलाओं के लिए आरक्षित किया गया है। वहीं, रिसाली में अनुसूचित जाति की महिला और दुर्ग में अन्य पिछड़ा वर्ग (ओबीसी) की महिला महापौर के लिए चुनाव लड़ेंगी।
भिलाई, भिलाई-चरोदा और बिलासपुर नगर निगम ओबीसी वर्ग के लिए आरक्षित हैं, जबकि जगदलपुर और चिरमिरी सामान्य वर्ग के लिए आरक्षित हैं। रायगढ़ नगर निगम अनुसूचित जाति और अंबिकापुर नगर निगम अनुसूचित जनजाति के लिए आरक्षित हैं।
राजनीतिक दलों में तेज हुई दावेदारों की चर्चा
रायपुर नगर निगम के महापौर पद के लिए भारतीय जनता पार्टी (भाजपा) की ओर से नेता प्रतिपक्ष मीनल चौबे, पूर्व जिला पंचायत अध्यक्ष लक्ष्मी वर्मा और विश्वनंदिनी पांडेय के नामों पर चर्चा हो रही है।
कांग्रेस में पूर्व महापौर डॉ. किरणमयी नायक, प्रमोद दुबे की पत्नी दीप्ति दुबे, परमजीत कौर और निशा देवेंद्र यादव जैसे नाम सामने आ रहे हैं। इसी तरह दुर्ग, कोरबा और अन्य नगर निगमों में भी संभावित दावेदारों को लेकर चर्चाएं तेज हो गई हैं।
आरक्षण प्रक्रिया पूरी
राज्य के 14 नगर निगमों, 54 नगर पालिकाओं और 124 नगर पंचायतों के लिए महापौर और अध्यक्ष पद के आरक्षण की प्रक्रिया पूरी कर ली गई है। रायपुर के दीनदयाल ऑडिटोरियम में कुल 192 नगरीय निकायों के आरक्षण के लिए लॉटरी निकाली गई।
चुनाव केवल 10 नगर निगमों में
हालांकि, 14 नगर निगमों में से केवल 10 में चुनाव होंगे। रिसाली, भिलाई, बीरगांव और भिलाई-चरोदा के नगर निगमों का कार्यकाल दिसंबर 2025 में समाप्त हो रहा है, इसलिए इन चार नगर निगमों में चुनाव अभी नहीं होंगे।
14 नगर निगमों का आरक्षण विवरण
- रायपुर: सामान्य (महिला)
- बीरगांव: सामान्य (महिला)
- दुर्ग: ओबीसी (महिला)
- रिसाली: एससी (महिला)
- कोरबा: सामान्य (महिला)
- भिलाई: ओबीसी
- भिलाई-चरोदा: ओबीसी
- राजनांदगांव: सामान्य
- धमतरी: सामान्य
- जगदलपुर: सामान्य
- रायगढ़: एससी
- बिलासपुर: ओबीसी
- अंबिकापुर: एसटी
- चिरमिरी: सामान्य
सक्रिय अभियान शुरू
राजनीतिक दलों ने इन चुनावों को लेकर अपनी रणनीति तैयार करनी शुरू कर दी है। खासकर महिला आरक्षित नगर निगमों में योग्य महिला प्रत्याशियों को लेकर गहन मंथन चल रहा है। अब देखना होगा कि इन चुनावों में कौन से नए चेहरे जनता का विश्वास जीतते हैं।