रायपुर/ सांस्कृतिक प्रदूषण फैलाने व सनातन समाज की धार्मिक आस्था को चोट पहुचाने वाले असामाजिक तत्वों द्वारा रामचरित्र मानस का अपमान करना उसे फाड़ना जलाना तिरस्कार करना उसकी बुद्धि को दर्शाता है रामचरित्र मानस सतयुग की साक्षात रामचलन चित्रकला है जिसमे द्वापर युग ओर कलयुग का वर्णन है उसका कुछ प्रमुख द्वारा अपमान करना उसकी सोच को दर्शाता है ऐसे लोगो को सद्बुद्धि आये,उन्हें सद्बुद्धि प्राप्त हो जिससे सांस्कृतिक प्रदूषण न फैले।विप्र फाउंडेशन के प्रदेश मीडिया प्रभारी डॉ. विकास पाठक ने बताया कि राष्ट्रीय विप्र फाउंडेशन के राष्ट्र व्यापी आह्वान के तहत छत्तीसगढ़ ही नही पूरे भारत मे 2100 से अधिक स्थानों पर देश की एकता और भाईचारे को लेकर राष्ट्रीय अध्यक्ष शुशील ओझा संरक्षक वरिष्ठ विधायक सत्यनारायण शर्मा के निर्देश पर प्रदेश अध्यक्ष रामचन्द्र शर्मा के आहवान पर विप्र समाज व सनातनी के द्वारा हनुमान चालीसा का पाठ टाटीबंध के पँचधाम मंदिर में किया गया।
सत्यनारायण शर्मा एवं चरण शर्मा ने रामचरित्र मानस में एक दोहा है जिसका वर्णन करते हुए कहा कि
प्रबसी नगर कीजे सब काजा,
हृदय राखही कौशल पुर राजा।
कुछ असामाजिक तत्वों द्वारा देश के वातावरण को बिगाड़ने का काम किया जारहा है रामचरित्र मानस वेदों पुराणों में एक प्राचीन ग्रंथ है जिसमे सभी धर्म को जोड़ने भाई चारे की बात कही गई है जिसमे साक्षात भगवान राम जी का जीवन दर्शन है।उसके साथ ऐसी असिष्ठा कदापि बर्दाश्त नही की जाएगी अतः एसे लोगो को सद्बुद्धि प्राप्त हो उसके लिए हनुमान चालीसा का पाठ छत्तीसगढ़ के सभी जिलों के साथ पूरे भारत मे सनातनी प्रेमियों द्वारा 2100 से अधिक स्थानों पर किया गया।रायपुर पँचधाम मंदिर हनुमान चालीसा में प्रदेश प्रभारी चरण शर्मा,जिला अध्यक्ष राजू कौशिक,राजेश शर्मा,नवीन शर्मा,आसुतोष शर्मा,योगेश दीक्षित एवं समस्त विप्र बन्धु ओर सनातनी बंधु उपस्थित हुए।