कन्फेडरेशन ऑफ ऑल इंडिया ट्रेडर्स (कैट) के वरिष्ठ राष्ट्रीय उपाध्यक्ष अमर पारवानी, चेयरमेन मगेलाल मालू, अमर गिदवानी, प्रदेश अध्यक्ष जितेन्द्र दोशी, कार्यकारी अध्यक्ष विक्रम सिंहदेव, परमानन्द जैन, वाशु माखीजा, महामंत्री सुरिन्द्रर सिंह, कार्यकारी महामंत्री भरत जैन, कोषाध्यक्ष अजय अग्रवाल एवं मीड़िया प्रभारी संजय चौंबे ने बताया कि नवरात्र के पहले दिन से इस वर्ष का दिवाली त्यौहारी सीजन शुरू हो गया जिसमें प्रदेश सहित देश भर के व्यापारियों को बड़ी उम्मीद है की कोरोना काल के दो वर्ष बाद इस दिवाली त्यौहारी सीजन में अच्छी बिक्री होगी । कन्फ़ेडरेशन ऑफ़ आल इंडिया ट्रेडर्स (कैट) ने कहा की व्यपारियों ने इस वर्ष सामानों की बढ़ती मांग की सम्भावना के मद्देनज़र अपने यहाँ पर्याप्त स्टॉक और विभिन्न प्रकार के उत्पादों का व्यापक प्रबंध किया है । ख़ास बात यह है की बाज़ारों में मौटे तौर पर इस बार चीनी सामान नदारद होगा और जिसके विकल्प के रूप में भारतीय सामान बाज़ारों में मिलेगा। विशेष बात यह है की पिछले वर्ष की तरह इस वर्ष भी ग्राहकों का खरीदी व्यवहार पूर्ण रूप से चीनी सामानों के जगह भारतीय सामानों पर रहने वाला है। वर्ष 2020 तथा वर्ष 2021 की दिवाली व्यापारियों के लिहाज से बेहद फीकी रही लेकिन इस बार दिवाली त्यौहार से व्यापारियों की बड़ी उम्मीदें हैं । कैट ने देश भर के व्यापारियों से आग्रह किया है की आजादी के अमृत महोत्सव काल में इस वर्ष की दिवाली को विशुद्ध रूप से “ भारतीय दिवाली- लोकल दिवाली“ के रूप में मनाया जाए तथा देश भर में व्यापारी अपने घरों एवं दुकानों में वैदिक रीति से दिवाली पूजन करें और अपने ग्राहकों को भी इसके लिए प्रेरित करें।
कैट के वरिष्ठ राष्ट्रीय उपाध्यक्ष श्री अमर पारवानी एवं प्रदेश अध्यक्ष श्री जितेन्द्र दोशी ने कहा की उम्मीद की जाती है की इस वर्ष दिवाली त्यौहार के दौरान चीन से आने वाले सामान के न आने से चीन को लगभग 75 हजार करोड़ रुपये के व्यापार का नुकसान संभावित है। न केवल व्यापारी बल्कि भारतीय उपभोक्ता भी अब चीनी सामान से कतराने लगे हैं जो देश की अर्थव्यवस्था के लिए बेहद अच्छा संकेत है।
श्री पारवानी एवं श्री दोशी ने बताया की दिवाली त्यौहार सीजन में खास तौर पर मिटटी के दिए, रेडीमेड गारमेंट्स, कपडे, गिफ्ट आइटम्स, एफएमसीजी प्रोडक्ट्स, रोजमर्रा की जरूरत की वस्तुएं, सौंदर्य प्रसाधन, कन्फेक्शनरी, मिठाई-नमकीन ,बिस्कुट, ड्राई फ्रूट, फल, घर में साज सज्जा की वस्तुएं, बिजली की लड़ियाँ एवं सजावटी बल्ब, मेहँदी, रंगोली का सामान , बिजली की कंडीलें, हैंडलूम फैब्रिक्स, फर्निशिंग आइटम्स, पेंट, ग्लास, बर्तन, इलेक्ट्रॉनिक्स, खिलौने, ट्रेवल का सामान, किचन का सामान, ज्वेलरी, घड़ियाँ, बिल्डर हार्डवेयर, लकड़ी एवं प्लाईवुड, चश्मे, खाद्द्य वस्तुएं, फुटवियर, फर्नीचर, पैकेजिंग सामान, पेपर एवं स्टेशनरी, वास्तु का सामान, भगवान् की प्रतिमाएं आदि की प्रमुख रूप से बड़ी मात्रा में बिक्री होती है।
श्री पारवानी एवं श्री दोशी ने आगे कहा कि कैट के राष्ट्रीय सचिव एवं आल इंडिया ज्वेलर्स एंड गोल्डस्मिथ फेडरेशन के अध्यक्ष श्री पंकज अरोरा ने बताया की इस वर्ष देश भर के सर्राफा व्यापारियों को भी बड़े व्यापार की उम्मीद है। उन्होंने कहा कि कोरोना महामारी की वजह से देश में लोगों की क्रय क्षमता में कमी आयी है किन्तु इस बार सोने-चाँदी का व्यापार भी बेहतर रहने की उम्मीद है। निवेश के लिहाज से भी इस वर्ष भी बाजारों में भारी निवेश की उम्मीद की जा रही है हमेशा की तरह सोना-चाँदी ही निवेशकों की पहली पसंद ही रहेगा। जिसके लिए सर्राफा बाजारों ने भी पूरी तैयारी की है और हर रेंज में ग्राहकों के लिए वैरायटी उपलब्ध हैं पिछले वर्ष दिवाली त्यौहार पर हुयी सोने-चाँदी की बिक्री में इस बार लगभग 20 प्रतिशत की बढ़ोतरी की उम्मीद है।